हज यात्रा के लिए प्रत्येक वर्ष दुनिया भर के देशों से आने वाले हज यात्रियों के लिए एक कोटा निर्धारित किया जाता है जो आने वाले देश के मुस्लिम जनसंख्या पर निर्भर करता है।
सऊदी हज मंत्रालय ने वर्ष 2019 में यह यह कोंटा 1000 लोगों पर एक व्यक्ति निर्धारित किया गया था। (मतलब आगंतुक देश के मुस्लिम आबादी के हिसाब से)
मक्का शहर का मीना क्षेत्र जहां दुनिया भर के दूसरे शहरों के मुकाबले सबसे ज्यादा तंबू लगे है इसलिए इसे ‘टेंटों का शहर’ भी कहा जाता है। पढ़े-सऊदी अरब वीजा के प्रकार व आवेदन प्रक्रिया
इन टेंटों में लाखों लोग रहते हैं सभी तंबू नायाब तरीके से बनाया गया है साथ ही सभी तंबुओं में वातानुकूलित (AC) व शौचालय की भी व्यवस्था रहती है।
हज के लिए हर साल दुनिया भर से लाखों हज यात्री सऊदी अरब आते हैं जिन्हें हज प्रक्रिया को पूरा करने के लिए तकरीबन 65 किलोमीटर पैदल चलना पड़ता है इस दूरी को प्रत्येक हज यात्री अपने हज यात्रा दौरान पूरी करता है।
- क्या आपको पता है कि काबा शरीफ का दरवाजा 300 किलोग्राम शुद्ध सोने से बना है और इसे सऊदी सेंट्रल बैंक (SAMA) ने उपहार में दिया था।
- काबा शरीफ का किस्वा ‘गलाफ’ जो अराफात के दिन यानी हज यात्रा के दूसरे दिन बदला जाता है यह बहुत पुरानी परंपरा हैं जो सदियों से जारी है। पढ़े-सऊदी टूरिस्ट वीज़ा आवेदन प्रक्रिया, गाइड व अक्सर पूछे जाने वाले सवाल ?
- हज के दौरान हाजियों के लिए छतरी की व्यवस्था कराई जाती है जिसे इस्तेमाल कर हाजी धूप व गर्मी से बचाव करते है।
- हज यात्री (हाजी) मीना में तीनो खंभों पर कंकड़ (छोटे पत्थर) मारते हैं जिन्हें जमरात कहा जाता है यह हज के दौरान किए जाने वाले रस्म एक का हिस्सा है ये तीनों खंभे शैतान के प्रतीक के रूप में माने जाते हैं। पढ़े-सऊदी अरब 1932 से अब तक के राजाओं व ताज-राजकुमारों की सूची व इतिहास
- हज यात्रा साल में केवल 7 दिन चलता है जिसका केन्द्र मक्का, माउंट अराफात, मुजदलफा और मीना है पवित्र स्थलों के बीच तीर्थयात्रियों के लिए एक विशेष शटल ट्रेन भी चलाई जाती हैं जिसका मकसद हाजियों को सहायता प्रदान करना है।